बेवक़्त   कमरे    में   आना   ठीक  नहीं  ,
बेवक़्त   ही   कमरे  में  क्यों  आती  हो  ?

पढ़े - इश्क का रोजा टूट गया . . .

खुले    बाल    मुझे    पसंद    हैं    तुम्हारे,
सो  हेयरबेण्ड   घर   ही   भूल  जाती  हो।

पढ़े - नारी शक्ति . . .

वह   दूर   के   रिश्तेदार   का   लड़का   है ,
यह  झूठ  तुम  कितनों  को  समझाती  हो ?

पढ़े - बेवजह तो छत पर . . .

आज  हम  दोनों  ने  क्या - क्या  बातें  की ,
सच कहना, ये किस-किस को बतलाती हो ?



Keshav Kaushik

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