जिंदगी है जहाँ वहाँ तुम हो सनम।
बेखुदी हो जहां वहाँ तुम हो सनम।

इबादत की हमेशा  आपकी सनम।
बन्दगी की हमने आपकी सनम।

हर धड़कन  की लय में हो सनम।
साँसों की माला में गूँजेनाम सनम।

जिंदगी का आगाज तुम हो सनम।
जिंदगी का अंदाज तुम हो सनम।

बेखुदी में मदहोशी तुम हो सनम।
बेख़याली में मिरे बस तुम सनम।

आशिकी की लौ  तुमसे सनम।
जुस्तजू जिसकीकी तुम हो सनम।

अब तो तुम ही तुम मुझमे सनम।
खो गयी हूँ मैं ढूँढो मुझे तुम सनम।

कही गहरे पैठ जमा बैठ गए सनम।
अन्तस् की गुहाओं में छिपे हो सनम।


लय में ,गीत में ,साज में तुम सनम।
हर भाव ,हर अंदाज में तुम सनम।

लम्हों की पल छिन में हो सनम।
अल्फाजों की गहराई हो सनम।

मेरे शेरों की जान तुम सनम।
मेरी कविता का भाव तुम सनम।

अथाह समर्पण का भाव हो सनम।
मेरी पूजा ,अरदास हो तुम सनम।

मेरी वफ़ा,समर्पण तुझसे सनम।
मेरी पहचान का उत्स हो सनम।

अब तो जीवन राग तुम सनम।
मरने  तक साथ देना तुम सनम।

Neelam Vyas


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