बुरा जो देखन मैं चला बुरा न मिलिया कोय ।
जो घर देखा आपना मुझसे बुरा णा कोय॥


अर्थ: मैं इस संसार में बुरे व्यक्ति की खोज करने चला था लेकिन जब अपने घर – अपने मन में झाँक कर देखा तो खुद से बुरा कोई न पाया अर्थात हम दूसरे की बुराई पर नजर रखते हैं पर अपने आप को नहीं निहारते !

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